Hindi poetry | मैं मिलूँ उसे | हिंदी कविता

                "मैं मिलूँ उसे" 




मैं मिलूँ उसे,

अंधेरे में रौशनी जैसी।

वो ढूंढे मुझे आसमाँ में, 

जमी जैसी।

मैं दिखूँ उसे हर

खूबसूरत रंग जैसी।

वो पाएँ मुझमें सुकून,

खोई जैसी।

चलु साथ तो नजारा

भूल जाएं वो।।

हाथ पकड़े दुनियाँ

की भीड़ मे ऐसे...

मैं उसकी माँ जैसी ।

मैं मिलूँ उसे,

अंधेरे में रौशनी जैसी।।

वो खो जाएं मुझमेंं,

कोई परी कथा जैसी।

मैं मिलूँ उसे किसी दिन

उसकी खोई अमानत जैसी।।।

                                  लेखक - Lily